हिंदुओं ने तय कर लिया तो क्या होगा… ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ के नारे पर भड़क उठे राज ठाकरे

पुणे में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया के विरोध मार्च में कथित तौर पर ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ के नारे लगे थे। इस घटना के बाद महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के प्रमुख राज ठाकरे ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर हिंदू और मराठी इस मामले को अपने हाथ में ले लिए तो त्योहार के दौरान अशांति हो जाएगी। उन्होंने शनिवार को जारी अपने बयान में कहा, “अगर हिंदुस्तान के हिंदू और हमारे मराठी हिंदू इस मामले को अपने हाथ में लेने का फैसला करते हैं तो इनका क्या होगा? मुझे यह बताने की आवश्यक्ता नहीं है। अगर ऐसा होता है तो त्योहार के समय में अशांति होगी। इसलिए इन राष्ट्र विरोधी गतिविधियों को तत्काल समाप्त करना बेहतर है।”

कथित तौर पर ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ का नारा लगाने वालों से राज ठाकरे ने कहा, “अगर उनकी मानसिक स्थिति ऐसी ही है तो अपना धर्म ले लो और पाकिस्तान चले जाओ। हमारे देश में इस तरह के नाटक की अनुमति नहीं दी जाएगी।”

राज ठाकरे ने आगे कहा, “मैं केंद्र और राज्य के गृह मंत्रियों से ऐसे संगठनों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का आग्रह करता हूं ताकि वे ‘पा’ भी नहीं बोल पाएं। यदि ऐसा नहीं होता है तो देश के हिंदू इसे झुकने नहीं देंगे। वे क्या कर सकते हैं, इसके इसके विवरण में मैं नहीं जाना चाहता हूं।”

वीडियो का हवाला देते हुए भाजपा ने शनिवार को आरोप लगाया कि शुक्रवार को जिला कलेक्टर कार्यालय के बाहर एक रैली में पाकिस्तान समर्थक नारे लगाए गए थे। पुणे पुलिस ने कहा कि वीडियो की जांच करने के बाद कार्रवाई की जाएगी। आपको बता दें कि आतंकी फंडिंग के आरोपों में पीएफआई नेताओं पर एनआईए, ईडी और महाराष्ट्र पुलिस की संयुक्त कार्रवाई के खिलाफ यह विरोध-प्रदर्शन किया गया था।

महाराष्ट्र कांग्रेस प्रमुख नाना पटोले ने भी इस कथित घटना की निंदा की और पीएफआई पर प्रतिबंध लगाने की मांग की। उन्होंने कहा, “केंद्र सरकार के पास गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) के तहत पीएफआई जैसे संगठनों पर प्रतिबंध लगाने की शक्ति है। कांग्रेस ने पहले ऐसी मांग की थी। क्या भाजपा अपने राजनीतिक मकसद के लिए मांग को स्वीकार नहीं कर रही है?”

मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस दोनों ने इस घटना की निंदा की और इसके खिलाफ कार्रवाई का वादा किया है। राज ठाकरे ने कहा, “सरकार को इस तरह की गतिविधियों पर तुरंत रोक लगानी चाहिए। एनआईए ने पीएफआई पर छापा मारा और कई सदस्यों को गिरफ्तार किया। उन्हें क्यों गिरफ्तार किया गया? इसका कारण यह है कि वे देश में आतंकवादी गतिविधियों को फंडिंग कर रहे हैं। यह गंभीर मुद्दा है। यह एक राष्ट्र विरोधी गतिविधि है।”

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