पेपर लीक करने वाले चार आरोपी गिरफ्तार, जानिए इनके पास से क्या-क्या मिला?

UP Police Recruitment 2023यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में चार अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी हुई है। पुलिस भर्ती के लिए ये परीक्षाएं 17 और 18 फरवरी को हुईं थीं। परीक्षा होने के बाद इस बात को लेकर हंगामा मच गया कि पेपर लीक हो गया है। इस खबर पर शुरुआत में कहा गया कि यह महज एक अफवाह है। हालांकि बाद में पता चला कि पेपर लीक होने की खबर अफवाह नहीं है। कई लोगों ने पेपेर लीक होने का दावा किया।

योगी सरकार ने रद्द कर दिया था पेपर

वहीं मीडिया में भी खबरें दिखाईं गई। कई लोगों ने सोशल मीडिया पर सबूत के तौर पर वीडियो पोस्ट किए। मामले को लेकर लोगों ने प्रदर्शन किया और दोबारा परीक्षा कराने की मांग पर अड़ गए। योगी सरकार ने मामले में कड़ा रुख अपनाते हुए यूपी पुलिस भर्ती परीक्षा रद्द कर दी और कहा कि परीक्षा में खिलवाड़ करने वाले आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। उन्हें बख्शा नहीं जाएगा।

6 महीने के अंदर दोबारा कराई जाएगी परीक्षा

योगी सरकार ने कहा कि 6 महीने के भीतर ये परीक्षा दोबारा कराई जाएगी। मामला सामने आने के बाद अब तक सैकड़ों लोगों का गिरफ्तार किया जा चुका है। अब इस मामले में पुलिस ने 4 और लोगों को गिरफ्तार किया है।

पेपर लीक मामले में पुलिस लागाकार कार्रवाई कर रही है। अब इटवा पुलिस, एसओजी, सर्विलांस सेल, एसटीएफ गोरखपुर ने संयुक्त कार्रवाई करते हुए इस मामले में चार अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया है। आरोपियों के पास से पुलिस को अभ्यर्थियों की मार्कशीट, प्रवेश पत्र, ब्लैंक चेक, मोबाइल फोन और लैपटाप मिले हैं। पुलिस के अनुसार, तीन आरोपी देवरिया के हैं जबकि एक पश्चिम बंगाल के हावड़ा का रहने वाला है। यूपी पुलिस भर्ती के लिए 22 केंद्रों पर परीक्षा हुई थी। इस दौरान कई केंद्रों से 10 साल्वर और मीडिएटर पकड़े गए थे।

संयुक्ट टीम ने की कार्रवाई

पेपर लीक मामले में एसपी प्राची सिंह ने एसओजी-सर्विलांस सेल और इटवा पुलिस की संयुक्त टीम गठित कर पेपप लीक करने वाले गैंग को गिरफ्तार करने के आदेश दिए थे। इसके बाद संयुक्त टीम लागातार मामले में छापेमारी कर रही थी। पेपर लीक मामले में संयुक्त टीम ने चार आरोपियों को नेपाल सीमा के कोटिया बाजार एसएसबी कैंप रोड से गिरफ्तार किया।

इनके पास से पुलिस को 32 कैंडिडेट्स की मार्कशीट, 14 ब्लैंक चेक, तीन चेकबुक, दो पासबुक और सात स्टांप पेपर मिले हैं। आरोपियों की पहचान पश्चिम बंगाल के हाबड़ा जिला, जेलिया पाढ़ा निवासी विट्टू कुमार यादव, देवरिया जिले के मईल क्षेत्र स्थित कैलानी निवासी संजय कुमार गौंड़, भटनी थाना क्षेत्र स्थित बिंदवलिया गांव निवासी नटराज प्रजापति और सलेमपुर क्षेत्र स्थित धनगड़ा निवासी जितेंद्र कुमार भारती के रूप में हुई है।

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